बलरामपुर – जिस जगह पर नन्हे पाव शिक्षा के, पहली क को जानने से लेकर माध्यमिक शिक्षा ग्रहण करने की वेवस्था हो उस जगह पर तानाशाह रवैया अपनाते हुए लोग खेती करें, वो भी सरकारी जमीन पर तो आप क्या कहेंगे कि यहाँ पर शासन प्रशासन की वेवस्था ठीक है, नही ना।
आज हम आपको ऐसी जगह का वितान्त बता रहे हैं जहाँ पर जानवरो से प्रेम लोगों को हो सकता है पर इंसानी बच्चों से कोई मोह माया नही हैं। हम बात कर रहे है, बलरामपुर जिले के वाड्रफनगर विकास खण्ड के ग्राम बरती खुर्द की जहाँ पर एक ही परिसर में आंगनबाड़ी, प्राथमिक शाला, व माध्यमिक शाला मौजूद हैं। जहाँ पर पंचायत सचिव का कब्जा हैं और बाकायदा खेती बाड़ी भी सचिव द्वारा किया जाता हैं, जिससे कुछ ग्रामीण को नाराजगी है और बची-खुची जमीन पर वे भी खेती पर उतर आए।
क्या कहते हैं ग्रामीण
ग्रामीणों का कहना है कि स्कूल के इस परिसर पर अवैध रूप से पंचायत सचिव देवीदयाल बियार का कब्जा है और वह वहाँ पर घर के साथ बाढ़ि बना कर खेती करता है और जिसे खाली करने की बात कही गई थी और खाली करने को राजी हो गया था पर खाली नही करता हैं। जबकि यह बच्चों के भविष्य का सवाल है।
जानवरों से प्रेम इंसानी बच्चों से नही
जब की यही सचिव अपने कर्तब्यव का निर्वाह करते हुवे शासन के मनसा अनुरूप गोठान के लिए शासकीय भूमि पर अवैध कब्जा हटाते हुए गोठान का निर्माण कराया है, जिसमें जानवरो को चारा-पानी दिया जाएगा सचिव को जानवरों से लगाव है पर गाँव के बच्चों से कोई मोह नहीं है।
शासन के योजना का लाभ
छत्तीसगढ़ शासन ने भूमिहीन गरीबो असहाय लोगो के लिए एक योजना बनाई जिसमे शासकीय भूमि पर काबिज लोगो को भू अधिकार पत्र का लाभ दिया गया। और सचिव ने भी अपने पिता को भी इसका लाभ दिया इसके बावजूद भी गाँव के बच्चों के लिए इस जगह को खाली नही कर रहा है।
पहुँच वाला है
ग्रामीणों ने यह भी आरोप जड़ दिए कि वह इस मामले में कोई कार्यवाही नही होने देता है, मंत्री जी के करीबियों में अच्छी पकड़ होने के कारण अधिकारियों को उच्य अधिकारियों का दबाव बना दिया जाता है। वर्तमान पंचायत में भी इसकी कार्यसेली के कई शिकायतें दी गई है पर जिम्मेदार अधिकारी भी कोई कार्यवाही नही करते हैं।